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मान्यता है कि दशहरे के दिन ही प्रभु श्रीराम ने रावण का संहार किया था, इसलिए इस दिन को विजयदशमी भी कहा जाता है।📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍*बाल वनिता महिला वृद्ध आश्रम संगरिया की टीम की तरफ से सभी को दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं*📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍: बुराई पर अच्छाई की जीत को दर्शाता है दशहरा शारदीय नवरात्रि के नौ दिन समाप्त होने के बाद दसवें दिन दशहरा मनाया जाता है। दशहरा का यह त्योहार बुराई पर अच्छाई की जीत के तौर पर मनाया जाता है। इस दिन भक्त मां दुर्गा की मूर्तियों का विसर्जन करते हैं। हिंदू पंचांग के मुताबिक आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दसवीं तिथि को दशहरा मनाया जाता है। मान्यता है कि दशहरे के दिन ही प्रभु श्रीराम ने रावण का संहार किया था, इसलिए इस दिन को विजयादशमी भी कहा जाता है। इस साल 15 अक्टूबर को यह त्योहार मनाया जाएगा।📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍दशहरे के दिन जगह-जगह पर मेले का आयोजन होता है, साथ ही रावण, मेघनाथ और कुंभकरण के पुतले फूंके जाते हैं। असत्य पर सत्य की जीत के इस प्रतीक के दिन लोग अपने मित्रों, परिजनों और रिश्तेदारों को संदेश भेजकर शुभकामनाएं देते हैं। आप भी इन संदेशों के जरिए अपने परिजनों को विश कर सकते हैं-📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍1- बुराई का होता है विनाश,दशहरा लाता है उम्मीद की आस।रावण की तरह आपके दुखों का हो नाश,विजयदशमी की हार्दिक शुभकामनाएं📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍2- संकटों का तम घनेरा,हो न आकुल मन ये तेरा।संकटों के तम छटेंगे होगा फिर सुंदर सवेरा,मुबारक हो आपको दशहरा।📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍3- रावण की तरहमन के विकारों का नाश हो,प्रभु श्रीराम का हृदय मेंसर्वदा वास हो।📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍4- ज्योत से ज्योत जगाते चलोप्रेम की गंगा बहाते चलोराह में आए जो दीन दुखीसबको गले लगाते चलोदिन आएगा सबका सुनहरामेरी तरफ से शुभ दशहरा📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍5- कभी भी आप पर पड़े न दुख का साया,प्रभु राम की कृपा का ऐसा असर रहे छाया,हरदम धन धान्य रहे आप अंगना,इस विजयादशमी यही है हमारी मनोकामना।शुभ विजयादशमी📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍फूलों की खुशबू अपनों का प्यार, मुबारक हो आपको विजयादशमी का त्योहार…चांद की चांदनी शरद की बहार,फूलों की खुशबू अपनों का प्यार,मुबारक हो आपको विजयादशमी का त्योहार,सदा खुश रहे आप और आपका परिवार📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍दे बेशुमार खुशियां यह दशहरा आपको, हर प्यारी खुशी आपकी दीवानी हो जाए!आज की नई सुबह बेहद सुहानी हो जाए,दुखों की सारी कड़वाहट पुरानी हो जाए,दे बेशुमार खुशियां यह दशहरा आपको,हर प्यारी खुशी आपकी दीवानी हो जाए!📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍खुशी आप के कदम चूमे, कभी ना हो दुखों का सामना…खुशी आप के कदम चूमे,कभी ना हो दुखों का सामना…धन ही धन आए आपके आंगन में,दशहरा के शुभ अवसर पर हमारी है यही मनोकामना,विजयदशमी की ढ़ेर सारी शुभकामनाएं!📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍हैप्पी दशहरा 2021आपके जीवन में कभी-भी कोई गम ना आएआपको दशहरा की ढ़ेर सारी शुभकामनाएं,हैप्पी दशहरा 2021📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍अत्याचार मिटाने के लिए अब हर घर से एक राम निकलेगाअन्याय के रूप में अब नेताओं का भ्रष्टाचार हैरावण के रूप में नेताओं का अत्याचार हैभ्रष्टाचार और अत्याचार मिटाने के लिए शंख बजेगाअब हर घर से एक राम निकलेगामंगलमय हो दशहरा।📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍दशहरा के पावन पर्व की शुभकामनाएं!दशहरा एक उम्मीद जगाता है,बुराई के अंत की याद दिलाता है,जो चलता है सत्य की राह परवो विजय का प्रतीक बन जाता हैंदशहरा के पावन पर्व की शुभकामनाएं!📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएंसत्य स्थापित करके, इस देश से बुराई को मिटाना होगा,आतंकी रावण का दहन करने आज फिर राम को आना होगा,आपको पूरे परिवार सहित दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं।📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍अधर्म पर धर्म की जीत का त्‍योहार है दशहराअधर्म पर धर्म की जीत,अन्याय पर न्याय की विजय,असत्य पर सत्य की जीत,बुराई पर अच्छाई की जय जयकार,यही है दशहरा का त्योहार।📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍आपको दशहरा की कोटि-कोटि बधाईइस दशहरा प्रण लेना होगा,रावण नहीं राम बनकर रहना होगा,बुराई के खिलाफ आवाज उठाना होगा,हर बच्ची को आज दुर्गा बनाना होगा।📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍दशहरा की शुभकामना व बधाई संदेशबुराई का होता है विनाश,दशहरा लाता है उम्मीद की आस,रावण की तरह आपके दुखों का हो नाश,सफलता और तरक्की के साथ यह दशहरा हो खास।📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍विजय दशमी की यूं दें बधाइयांभीतर के रावण को जो आग खुद लगाएंगेसही मायने में वे ही दशहरा मनाएंगे..!शुभ विजयादशमी.📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍यही है दशहरे के शुभ अवसर पर मनोकामना…खुशी आप के कदम चूमे,कभी ना हो दुखों का सामना,धन ही धन आए आप के अंगना,यही है दशहरे के शुभ अवसर पर मनोकामना।आप सभी को दशहरे की हार्दिक शुभकामनाएं📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍इससे पहले कि दशहरा की शाम हो जाए…इससे पहले कि दशहरा की शाम हो जाए,मेरा SMS औरों की तरह आम हो जाए,सारे Mobile Network जाम हो जाएं और दशहरा विश करना आम हो जाए… हैप्पी दशहरा आपको.📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍भीतर के रावण को जो आग खुद लगाएंगे…भीतर के रावण को जो आग खुद लगाएंगेसही मायने में वे ही दशहरा मनाएंगे..!शुभ विजयादशमी.📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍बुराई पर अच्छाई की जीत का समय…उत्सव का एक समय,बुराई पर अच्छाई की जीत का समय,एक समय जब दुनिया अच्छाई की शक्ति का उदाहरण देखती है,आइए हम उसी सच्ची भावना को जारी रखेंहैप्पी दशहरा.📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍रावण जलाओ, बुराई को आग लगाओ…रावण जलाओ,बुराई को आग लगाओ,अच्छाई को अपनाओ,हैप्पी दशहरा📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍विजयादशमी पर विजय का प्रतीक हैं श्रीरामविजयादशमी पर विजय का प्रतीक हैं श्रीरामबुराई पर अच्छाई का प्रतीक हैं श्री रामदशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍सफलता और तरक्की के साथ यह दशहरा हो खास…बुराई का होता है विनाश,दशहरा लाता है उम्मीद की आस,रावण की तरह आपके दुखों का हो नाश,सफलता और तरक्की के साथ यह दशहरा हो खास।📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍तहे दिल से कह रहा हूं हैप्पी दशहरा 2021आपकी जीवन में हो खुशियों का बसेरातहे दिल से कह रहा हूं हैप्पी दशहरा 2021📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍आयो मिलकर दशहरा मनाएं…आयो मिलकर दशहरा मनाएंअपने अंहकार रूपी रावण को जलाएंहैप्पी दशहरा📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍दशहरा का पर्व है अच्छाई का प्रतीक…दशहरा का पर्व है अच्छाई का प्रतीकबुराई की राह पर चलकर हार है निश्चितइस संदेश को करो अपने जीवन में शामिलदशहरा पर्व की शुभकामनाएं📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍बुरे पर अच्छे की जय जयकार…धर्म पर धर्म की जीत, अन्याय पर न्याय की विजयबुरे पर अच्छे की जय जयकार, यही है दशहरा का त्योहार।👭👭👭👭👭👭👭👭👭👭👭इस दशहरे हर मनुष्य बस एक नेक काम करें…इस दशहरे हर मनुष्य बस एक नेक काम करेंअंतर्मन में पनप रही हर बुराई का सर्वनाश करेंइसी कामना के साथ आपको दशहरे की शुभकामनाएं📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍 14 Oct 2021आपको पूरे परिवार सहित दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएंसत्य स्थापित करके, इस देश से बुराई को मिटाना होगाआतंकी रावण का दहन करने आज फिर राम को आना होगाआपको पूरे परिवार सहित दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍आपको दशहरा की ढेरों सारी शुभ कामनाएं…आपके जीवन में कभी-भी कोई गम ना आएआपको दशहरा की ढेरों सारी शुभ कामनाएं📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍Happy Dussehra 2021 Wishes: दशहरा पर्व की हार्दिक शुभकामनाएंइससे पहले की दशहरे की शाम हो जाए,मेरा मैसेज औरों की तरह आम हो जाए,सारे मोबाइल नेटवर्क जाम हो जाएं,और दशहरा विश करना आम हो जाए📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍*बाल वनिता महिला वृद्ध आश्रम की अध्यक्ष श्रीमती वनिता कासनियां पंजाब*आप सभी को Happy Vijayadashamतीन लोग आपका नंबर मांग रहे हैं, मैंने नहीं दिया.वो दशहरा के दिन आयेंगे उनके नाम हैं…सुख..!!शांति..!!समृधि..!!हैप्पी विजयदशमी।विजयदशमी पर विजय का प्रतीक हैं श्रीरामबुराई पर अच्छाई का प्रतीक हैं श्री रामदशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍📍

मान्यता है कि दशहरे के दिन ही प्रभु श्रीराम ने रावण का संहार किया था, इसलिए इस दिन को विजयदशमी भी कहा जाता है।
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*बाल वनिता महिला वृद्ध आश्रम संगरिया की टीम की तरफ से सभी को दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं*
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: बुराई पर अच्छाई की जीत को दर्शाता है दशहरा शारदीय नवरात्रि के नौ दिन समाप्त होने के बाद दसवें दिन दशहरा मनाया जाता है। दशहरा का यह त्योहार बुराई पर अच्छाई की जीत के तौर पर मनाया जाता है। इस दिन भक्त मां दुर्गा की मूर्तियों का विसर्जन करते हैं। हिंदू पंचांग के मुताबिक आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दसवीं तिथि को दशहरा मनाया जाता है। मान्यता है कि दशहरे के दिन ही प्रभु श्रीराम ने रावण का संहार किया था, इसलिए इस दिन को विजयादशमी भी कहा जाता है। इस साल 15 अक्टूबर को यह त्योहार मनाया जाएगा।
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दशहरे के दिन जगह-जगह पर मेले का आयोजन होता है, साथ ही रावण, मेघनाथ और कुंभकरण के पुतले फूंके जाते हैं। असत्य पर सत्य की जीत के इस प्रतीक के दिन लोग अपने मित्रों, परिजनों और रिश्तेदारों को संदेश भेजकर शुभकामनाएं देते हैं। आप भी इन संदेशों के जरिए अपने परिजनों को विश कर सकते हैं-
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1- बुराई का होता है विनाश,
दशहरा लाता है उम्मीद की आस।
रावण की तरह आपके दुखों का हो नाश,
विजयदशमी की हार्दिक शुभकामनाएं
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2- संकटों का तम घनेरा,
हो न आकुल मन ये तेरा।
संकटों के तम छटेंगे होगा फिर सुंदर सवेरा,
मुबारक हो आपको दशहरा।
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3- रावण की तरह
मन के विकारों का नाश हो,
प्रभु श्रीराम का हृदय में
सर्वदा वास हो।
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4- ज्योत से ज्योत जगाते चलो
प्रेम की गंगा बहाते चलो
राह में आए जो दीन दुखी
सबको गले लगाते चलो
दिन आएगा सबका सुनहरा
मेरी तरफ से शुभ दशहरा
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5- कभी भी आप पर पड़े न दुख का साया,
प्रभु राम की कृपा का ऐसा असर रहे छाया,
हरदम धन धान्य रहे आप अंगना,
इस विजयादशमी यही है हमारी मनोकामना।
शुभ विजयादशमी
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फूलों की खुशबू अपनों का प्यार, मुबारक हो आपको विजयादशमी का त्योहार…
चांद की चांदनी शरद की बहार,

फूलों की खुशबू अपनों का प्यार,

मुबारक हो आपको विजयादशमी का त्योहार,

सदा खुश रहे आप और आपका परिवार
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दे बेशुमार खुशियां यह दशहरा आपको, हर प्यारी खुशी आपकी दीवानी हो जाए!
आज की नई सुबह बेहद सुहानी हो जाए,

दुखों की सारी कड़वाहट पुरानी हो जाए,

दे बेशुमार खुशियां यह दशहरा आपको,

हर प्यारी खुशी आपकी दीवानी हो जाए!

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खुशी आप के कदम चूमे, कभी ना हो दुखों का सामना…
खुशी आप के कदम चूमे,

कभी ना हो दुखों का सामना…

धन ही धन आए आपके आंगन में,

दशहरा के शुभ अवसर पर हमारी है यही मनोकामना,

विजयदशमी की ढ़ेर सारी शुभकामनाएं!

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हैप्पी दशहरा 2021
आपके जीवन में कभी-भी कोई गम ना आए

आपको दशहरा की ढ़ेर सारी शुभकामनाएं,

हैप्पी दशहरा 2021

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अत्याचार मिटाने के लिए अब हर घर से एक राम निकलेगा

अन्याय के रूप में अब नेताओं का भ्रष्टाचार है

रावण के रूप में नेताओं का अत्याचार है

भ्रष्टाचार और अत्याचार मिटाने के लिए शंख बजेगा

अब हर घर से एक राम निकलेगा

मंगलमय हो दशहरा।

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दशहरा के पावन पर्व की शुभकामनाएं!
दशहरा एक उम्मीद जगाता है,

बुराई के अंत की याद दिलाता है,

जो चलता है सत्य की राह पर

वो विजय का प्रतीक बन जाता हैं

दशहरा के पावन पर्व की शुभकामनाएं!

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दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं

सत्य स्थापित करके, इस देश से बुराई को मिटाना होगा,

आतंकी रावण का दहन करने आज फिर राम को आना होगा,

आपको पूरे परिवार सहित दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं।

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अधर्म पर धर्म की जीत का त्‍योहार है दशहरा

अधर्म पर धर्म की जीत,

अन्याय पर न्याय की विजय,

असत्य पर सत्य की जीत,

बुराई पर अच्छाई की जय जयकार,

यही है दशहरा का त्योहार।
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आपको दशहरा की कोटि-कोटि बधाई

इस दशहरा प्रण लेना होगा,

रावण नहीं राम बनकर रहना होगा,

बुराई के खिलाफ आवाज उठाना होगा,

हर बच्ची को आज दुर्गा बनाना होगा।

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दशहरा की शुभकामना व बधाई संदेश

बुराई का होता है विनाश,

दशहरा लाता है उम्मीद की आस,

रावण की तरह आपके दुखों का हो नाश,

सफलता और तरक्की के साथ यह दशहरा हो खास।

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विजय दशमी की यूं दें बधाइयां
भीतर के रावण को जो आग खुद लगाएंगे

सही मायने में वे ही दशहरा मनाएंगे..!

शुभ विजयादशमी.

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यही है दशहरे के शुभ अवसर पर मनोकामना…
खुशी आप के कदम चूमे,

कभी ना हो दुखों का सामना,

धन ही धन आए आप के अंगना,

यही है दशहरे के शुभ अवसर पर मनोकामना।

आप सभी को दशहरे की हार्दिक शुभकामनाएं

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इससे पहले कि दशहरा की शाम हो जाए…
इससे पहले कि दशहरा की शाम हो जाए,

मेरा SMS औरों की तरह आम हो जाए,

सारे Mobile Network जाम हो जाएं और दशहरा विश करना आम हो जाए… हैप्पी दशहरा आपको.

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भीतर के रावण को जो आग खुद लगाएंगे…
भीतर के रावण को जो आग खुद लगाएंगे

सही मायने में वे ही दशहरा मनाएंगे..!

शुभ विजयादशमी.

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बुराई पर अच्छाई की जीत का समय…
उत्सव का एक समय,

बुराई पर अच्छाई की जीत का समय,

एक समय जब दुनिया अच्छाई की शक्ति का उदाहरण देखती है,

आइए हम उसी सच्ची भावना को जारी रखें

हैप्पी दशहरा.

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रावण जलाओ, बुराई को आग लगाओ…
रावण जलाओ,

बुराई को आग लगाओ,

अच्छाई को अपनाओ,

हैप्पी दशहरा
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विजयादशमी पर विजय का प्रतीक हैं श्रीराम
विजयादशमी पर विजय का प्रतीक हैं श्रीराम

बुराई पर अच्छाई का प्रतीक हैं श्री राम

दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं

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सफलता और तरक्की के साथ यह दशहरा हो खास…
बुराई का होता है विनाश,

दशहरा लाता है उम्मीद की आस,

रावण की तरह आपके दुखों का हो नाश,

सफलता और तरक्की के साथ यह दशहरा हो खास।

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तहे दिल से कह रहा हूं हैप्पी दशहरा 2021
आपकी जीवन में हो खुशियों का बसेरा

तहे दिल से कह रहा हूं हैप्पी दशहरा 2021
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आयो मिलकर दशहरा मनाएं…
आयो मिलकर दशहरा मनाएं
अपने अंहकार रूपी रावण को जलाएं
हैप्पी दशहरा

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दशहरा का पर्व है अच्छाई का प्रतीक…
दशहरा का पर्व है अच्छाई का प्रतीक

बुराई की राह पर चलकर हार है निश्चित

इस संदेश को करो अपने जीवन में शामिल

दशहरा पर्व की शुभकामनाएं
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बुरे पर अच्छे की जय जयकार…
धर्म पर धर्म की जीत, अन्याय पर न्याय की विजय

बुरे पर अच्छे की जय जयकार, यही है दशहरा का त्योहार।
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इस दशहरे हर मनुष्य बस एक नेक काम करें…
इस दशहरे हर मनुष्य बस एक नेक काम करें

अंतर्मन में पनप रही हर बुराई का सर्वनाश करें

इसी कामना के साथ आपको दशहरे की शुभकामनाएं
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 14 Oct 2021
आपको पूरे परिवार सहित दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं
सत्य स्थापित करके, इस देश से बुराई को मिटाना होगा
आतंकी रावण का दहन करने आज फिर राम को आना होगा
आपको पूरे परिवार सहित दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं
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आपको दशहरा की ढेरों सारी शुभ कामनाएं…
आपके जीवन में कभी-भी कोई गम ना आए

आपको दशहरा की ढेरों सारी शुभ कामनाएं
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Happy Dussehra 2021 Wishes: दशहरा पर्व की हार्दिक शुभकामनाएं
इससे पहले की दशहरे की शाम हो जाए,

मेरा मैसेज औरों की तरह आम हो जाए,

सारे मोबाइल नेटवर्क जाम हो जाएं,

और दशहरा विश करना आम हो जाए
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*बाल वनिता महिला वृद्ध आश्रम की अध्यक्ष श्रीमती वनिता कासनियां पंजाब*
आप सभी को Happy Vijayadasham
तीन लोग आपका नंबर मांग रहे हैं, मैंने नहीं दिया.
वो दशहरा के दिन आयेंगे उनके नाम हैं…

सुख..!!

शांति..!!

समृधि..!!

हैप्पी विजयदशमी।

विजयदशमी पर विजय का प्रतीक हैं श्रीराम

बुराई पर अच्छाई का प्रतीक हैं श्री राम

दशहरा की हार्दिक शुभकामनाएं
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आज हम आपको वाल्मीकि रामायण की कुछ रोचक और अनसुनी बातें बतायेगें !!!!!!By समाजसेवी वनिता कासनियां पंजाबभगवान राम को समर्पित दो ग्रंथ मुख्यतः लिखे गए है एक तुलसीदास द्वारा रचित ‘श्री रामचरित मानस’ और दूसरा वाल्मीकि कृत ‘रामायण’। इनके अलावा भी कुछ अन्य ग्रन्थ लिखे गए है पर इन सब में वाल्मीकि कृत रामायण को सबसे सटीक और प्रामाणिक माना जाता है।लेकिन बहुत कम लोग जानते है की श्री रामचरित मानस और रामायण में कुछ बातें अलग है जबकि कुछ बातें ऐसी है जिनका वर्णन केवल वाल्मीकि कृत रामायण में है। आज इस लेख में हम आपको वाल्मीकि कृत रामायण की कुछ ऐसी ही बातों के बारे में बताएँगे।1- तुलसीदास द्वारा श्रीरामचरित मानस में वर्णन है कि भगवान श्रीराम ने सीता स्वयंवर में शिव धनुष को उठाया और प्रत्यंचा चढ़ाते समय वह टूट गया, जबकि वाल्मीकि द्वारा रचित रामायण में सीता स्वयंवर का वर्णन नहीं है।रामायण के अनुसार भगवान राम व लक्ष्मण ऋषि विश्वामित्र के साथ मिथिला पहुंचे थे। विश्वामित्र ने ही राजा जनक से श्रीराम को वह शिवधनुष दिखाने के लिए कहा। तब भगवान श्रीराम ने खेल ही खेल में उस धनुष को उठा लिया और प्रत्यंचा चढ़ाते समय वह टूट गया। राजा जनक ने यह प्रण किया था कि जो भी इस शिव धनुष को उठा लेगा, उसी से वे अपनी पुत्री सीता का विवाह कर देंगे।2- रामायण के अनुसार राजा दशरथ ने पुत्र प्राप्ति के लिए पुत्रेष्ठि यज्ञ करवाया था। इस यज्ञ को मुख्य रूप से ऋषि ऋष्यश्रृंग ने संपन्न किया था। ऋष्यश्रृंग के पिता का नाम महर्षि विभाण्डक था। एक दिन जब वे नदी में स्नान कर रहे थे तब नदी में उनका वीर्यपात हो गया। उस जल को एक हिरणी ने पी लिया था, जिसके फलस्वरूप ऋषि ऋष्यश्रृंग का जन्म हुआ था।3- विश्व विजय करने के लिए जब रावण स्वर्ग लोक पहुंचा तो उसे वहां रंभा नाम की अप्सरा दिखाई दी। अपनी वासना पूरी करने के लिए रावण ने उसे पकड़ लिया।तब उस अप्सरा ने कहा कि आप मुझे इस तरह से स्पर्श न करें, मैं आपके बड़े भाई कुबेर के बेटे नलकुबेर के लिए आरक्षित हूं।इसलिए मैं आपकी पुत्रवधू के समान हूं, लेकिन रावण नहीं माना और उसने रंभा से दुराचार किया। यह बात जब नलकुबेर को पता चली तो उसने रावण को श्राप दिया कि आज के बाद रावण बिना किसी स्त्री की इच्छा के उसे स्पर्श करेगा तो उसका मस्तक सौ टुकड़ों में बंट जाएगा।4- ये बात सभी जानते हैं कि लक्ष्मण द्वारा शूर्पणखा के नाक-कान काटे जाने से क्रोधित होकर ही रावण ने सीता का हरण किया था, लेकिन स्वयं शूर्पणखा ने भी रावण का सर्वनाश होने का श्राप दिया था। क्योंकि रावण की बहन शूर्पणखा के पति का नाम विद्युतजिव्ह था। वो कालकेय नाम के राजा का सेनापति था। रावण जब विश्वयुद्ध पर निकला तो कालकेय से उसका युद्ध हुआ। उस युद्ध में रावण ने विद्युतजिव्ह का वध कर दिया। तब शूर्पणखा ने मन ही मन रावण को श्राप दिया कि मेरे ही कारण तेरा सर्वनाश होगा।5- श्रीरामचरित मानस के अनुसार सीता स्वयंवर के समय भगवान परशुराम वहां आए थे, जबकि रामायण के अनुसार सीता से विवाह के बाद जब श्रीराम पुन: अयोध्या लौट रहे थे, तब परशुराम वहां आए और उन्होंने श्रीराम से अपने धनुष पर बाण चढ़ाने के लिए कहा। श्रीराम के द्वारा बाण चढ़ा देने पर परशुराम वहां से चले गए थे।6- वाल्मीकि रामायण के अनुसार एक बार रावण अपने पुष्पक विमान से कहीं जा रहा था, तभी उसे एक सुंदर स्त्री दिखाई दी, उसका नाम वेदवती था। वह भगवान विष्णु को पति रूप में पाने के लिए तपस्या कर रही थी। रावण ने उसके बाल पकड़े और अपने साथ चलने को कहा। उस तपस्विनी ने उसी क्षण अपनी देह त्याग दी और रावण को श्राप दिया कि एक स्त्री के कारण ही तेरी मृत्यु होगी। उसी स्त्री ने दूसरे जन्म में सीता के रूप में जन्म लिया l7- जिस समय भगवान श्रीराम वनवास गए, उस समय उनकी आयु लगभग 27 वर्ष की थी। राजा दशरथ श्रीराम को वनवास नहीं भेजना चाहते थे, लेकिन वे वचनबद्ध थे। जब श्रीराम को रोकने का कोई उपाय नहीं सूझा तो उन्होंने श्रीराम से यह भी कह दिया कि तुम मुझे बंदी बनाकर स्वयं राजा बन जाओ।8- अपने पिता राजा दशरथ की मृत्यु का आभास भरत को पहले ही एक स्वप्न के माध्यम से हो गया था। सपने में भरत ने राजा दशरथ को काले वस्त्र पहने हुए देखा था। उनके ऊपर पीले रंग की स्त्रियां प्रहार कर रही थीं। सपने में राजा दशरथ लाल रंग के फूलों की माला पहने और लाल चंदन लगाए गधे जुते हुए रथ पर बैठकर तेजी से दक्षिण (यम की दिशा) की ओर जा रहे थे।9- हिंदू धर्म में तैंतीस करोड़ देवी-देवताओं की मान्यता है, जबकि रामायण के अरण्यकांड के चौदहवे सर्ग के चौदहवे श्लोक में सिर्फ तैंतीस देवता ही बताए गए हैं। उसके अनुसार बारह आदित्य, आठ वसु, ग्यारह रुद्र और दो अश्विनी कुमार, ये ही कुल तैंतीस देवता हैं। 10- रघुवंश में एक परम प्रतापी राजा हुए थे, जिनका नाम अनरण्य था। जब रावण विश्वविजय करने निकला तो राजा अनरण्य से उसका भयंकर युद्ध हुआ। उस युद्ध में राजा अनरण्य की मृत्यु हो गई, लेकिन मरने से पहले उन्होंने रावण को श्राप दिया कि मेरे ही वंश में उत्पन्न एक युवक तेरी मृत्यु का कारण बनेगा।11- रावण जब विश्व विजय पर निकला तो वह यमलोक भी जा पहुंचा। वहां यमराज और रावण के बीच भयंकर युद्ध हुआ। जब यमराज ने रावण के प्राण लेने के लिए कालदण्ड का प्रयोग करना चाहा तो ब्रह्मा ने उन्हें ऐसा करने से रोक दिया क्योंकि किसी देवता द्वारा रावण का वध संभव नहीं था।12- सीताहरण करते समय जटायु नामक गिद्ध ने रावण को रोकने का प्रयास किया था। रामायण के अनुसार जटायु के पिता अरुण बताए गए हैं। ये अरुण ही भगवान सूर्यदेव के रथ के सारथी हैं।13- जिस दिन रावण सीता का हरण कर अपनी अशोक वाटिका में लाया। उसी रात को भगवान ब्रह्मा के कहने पर देवराज इंद्र माता सीता के लिए खीर लेकर आए, पहले देवराज ने अशोक वाटिका में उपस्थित सभी राक्षसों को मोहित कर सुला दिया। उसके बाद माता सीता को खीर अर्पित की, जिसके खाने से सीता की भूख-प्यास शांत हो गई।14- जब भगवान राम और लक्ष्मण वन में सीता की खोज कर रहे थे। उस समय कबंध नामक राक्षस का राम-लक्ष्मण ने वध कर दिया। वास्तव में कबंध एक श्राप के कारण ऐसा हो गया था। जब श्रीराम ने उसके शरीर को अग्नि के हवाले किया तो वह श्राप से मुक्त हो गया। कबंध ने ही श्रीराम को सुग्रीव से मित्रता करने के लिए कहा था।15- श्रीरामचरितमानस के अनुसार समुद्र ने लंका जाने के लिए रास्ता नहीं दिया तो लक्ष्मण बहुत क्रोधित हो गए थे, जबकि वाल्मीकि रामायण में वर्णन है कि लक्ष्मण नहीं बल्कि भगवान श्रीराम समुद्र पर क्रोधित हुए थे और उन्होंने समुद्र को सुखा देने वाले बाण भी छोड़ दिए थे। तब लक्ष्मण व अन्य लोगों ने भगवान श्रीराम को समझाया था।16- सभी जानते हैं कि समुद्र पर पुल का निर्माण नल और नील नामक वानरों ने किया था। क्योंकि उसे श्राप मिला था कि उसके द्वारा पानी में फेंकी गई वस्तु पानी में डूबेगी नहीं, जबकि वाल्मीकि रामायण के अनुसार नल देवताओं के शिल्पी (इंजीनियर) विश्वकर्मा के पुत्र थे और वह स्वयं भी शिल्पकला में निपुण था। अपनी इसी कला से उसने समुद्र पर सेतु का निर्माण किया था।17- रामायण के अनुसार समुद्र पर पुल बनाने में पांच दिन का समय लगा। पहले दिन वानरों ने 14 योजन, दूसरे दिन 20 योजन, तीसरे दिन 21 योजन, चौथे दिन 22 योजन और पांचवे दिन 23 योजन पुल बनाया था। इस प्रकार कुल 100 योजन लंबाई का पुल समुद्र पर बनाया गया। यह पुल 10 योजन चौड़ा था। (एक योजन लगभग 13-16 किमी होता है)18- एक बार रावण जब भगवान शंकर से मिलने कैलाश गया। वहां उसने नंदीजी को देखकर उनके स्वरूप की हंसी उड़ाई और उन्हें बंदर के समान मुख वाला कहा। तब नंदीजी ने रावण को श्राप दिया कि बंदरों के कारण ही तेरा सर्वनाश होगा।19- रामायण के अनुसार जब रावण ने भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए कैलाश पर्वत उठा लिया तब माता पार्वती भयभीत हो गई थी और उन्होंने रावण को श्राप दिया था कि तेरी मृत्यु किसी स्त्री के कारण ही होगी।20- जिस समय राम-रावण का अंतिम युद्ध चल रहा था, उस समय देवराज इंद्र ने अपना दिव्य रथ श्रीराम के लिए भेजा था। उस रथ में बैठकर ही भगवान श्रीराम ने रावण का वध किया था।21- जब काफी समय तक राम-रावण का युद्ध चलता रहा तब अगस्त्य मुनि ने श्रीराम से आदित्य ह्रदय स्त्रोत का पाठ करने को कहा, जिसके प्रभाव से भगवान श्रीराम ने रावण का वध किया।22- रामायण के अनुसार रावण जिस सोने की लंका में रहता था वह लंका पहले रावण के भाई कुबेर की थी। जब रावण ने विश्व विजय पर निकला तो उसने अपने भाई कुबेर को हराकर सोने की लंका तथा पुष्पक विमान पर अपना कब्जा कर लिया।23- रावण ने अपनी पत्नी की बड़ी बहन माया के साथ भी छल किया था। माया के पति वैजयंतपुर के शंभर राजा थे। एक दिन रावण शंभर के यहां गया। वहां रावण ने माया को अपनी बातों में फंसा लिया। इस बात का पता लगते ही शंभर ने रावण को बंदी बना लिया। उसी समय शंभर पर राजा दशरथ ने आक्रमण कर दिया। उस युद्ध में शंभर की मृत्यु हो गई। जब माया सती होने लगी तो रावण ने उसे अपने साथ चलने को कहा। तब माया ने कहा कि तुमने वासनायुक्त मेरा सतित्व भंग करने का प्रयास किया इसलिए मेरे पति की मृत्यु हो गई, अत: तुम्हारी मृत्यु भी इसी कारण होगी।24- रावण के पुत्र मेघनाद ने जब युद्ध में इंद्र को बंदी बना लिया तो ब्रह्माजी ने देवराज इंद्र को छोडऩे को कहा। इंद्र पर विजय प्राप्त करने के कारण ही मेघनाद इंद्रजीत के नाम से विख्यात हुआ।25- रावण जब विशव विजय पर निकला तब वह यमलोक भी जा पहुंचा। वहां रावण और यमराज के बीच भयंकर युद्ध हुआ। जब यमराज ने कालदंड के प्रयोग द्वारा रावण के प्राण लेने चाहे तो ब्रह्मा ने उन्हें ऐसा करने से रोक दिया क्योंकि किसी देवता द्वारा रावण का वध संभव नहीं था।26- वाल्मीकि रामायण में 24 हज़ार श्लोक, 500 उपखण्ड, तथा सात कांड है।

आज हम आपको वाल्मीकि रामायण की कुछ रोचक और अनसुनी बातें बतायेगें !!!!!! By समाजसेवी वनिता कासनियां पंजाब भगवान राम को समर्पित दो ग्रंथ मुख्यतः लिखे गए है एक तुलसीदास द्वारा रचित ‘श्री रामचरित मानस’ और दूसरा वाल्मीकि कृत ‘रामायण’। इनके अलावा भी कुछ अन्य ग्रन्थ लिखे गए है पर इन सब में वाल्मीकि कृत रामायण को सबसे सटीक और प्रामाणिक माना जाता है। बाल वनिता महिला आश्रम लेकिन बहुत कम लोग जानते है की श्री रामचरित मानस और रामायण में कुछ बातें अलग है जबकि कुछ बातें ऐसी है जिनका वर्णन केवल वाल्मीकि कृत रामायण में है। आज इस लेख में हम आपको वाल्मीकि कृत रामायण की कुछ ऐसी ही बातों के बारे में बताएँगे। 1- तुलसीदास द्वारा श्रीरामचरित मानस में वर्णन है कि भगवान श्रीराम ने सीता स्वयंवर में शिव धनुष को उठाया और प्रत्यंचा चढ़ाते समय वह टूट गया, जबकि वाल्मीकि द्वारा रचित रामायण में सीता स्वयंवर का वर्णन नहीं है। रामायण के अनुसार भगवान राम व लक्ष्मण ऋषि विश्वामित्र के साथ मिथिला पहुंचे थे। विश्वामित्र ने ही राजा जनक से श्रीराम को वह शिवधनुष दिखाने के लिए कहा। तब भगवान श्रीराम ने खेल ही खेल में उस

*ॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐ*🌹🙏🌹 #जय__श्री__राम_ 🌹🙏🌹🙏🙏#जय__जय__सिया__राम_🙏🙏⛳⛳#जय_पवनपुत्र_हनुमान_ ⛳⛳ *🛕राम राम🚩राम राम🛕* *🛕││राम││🛕* *🛕राम🛕* * 🛕*🌞जय श्री सीताराम सादर सुप्रभात जी🌞┈┉┅━❀꧁आज के अनमोल मोती꧂❀━┅┉┈*समस्याएँ हमारे जीवन मेंबिना किसी वजह के नहीं आती.....**उनका आना एक इशारा है किहमे अपने जीवन में कुछ बदलना है.....*🙏🌹🙏🌹🙏🌹🙏*कपड़े से छाना हुआ पानी**स्वास्थ्य को ठीक रखता हैं।*और...**विवेक से छानी हुई वाणी**सबंध को ठीक रखती हैं॥**शब्दो को कोई भी स्पर्श नही कर सकता..*_🙏🙏🙏_*....पर....*_🙏🙏🙏_*शब्द सभी को स्पर्श कर जाते है*🙏🌹🙏🌹🙏🌹🙏┈┉┅━❀꧁🙏"जय श्री राम"🙏 ꧂❀━┅┉┈*ॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐ*🙏🙏*सभी भक्त प्रेम से बोलो*✍️ 🙏"जय श्री राम रामाय नमः 🙏⛳🙏#जय_जय_सिया_राम__🙏⛳🙏#सियावर_रामचन्द्र__की__जय#🙏*ॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐॐ*